Is The Bihar Startup Policy Failing?
Most people are of the opinion that the Bihar Startup Policy is not only doing well but also excelling in its execution. But, according to conversations with various start-ups and experts, the...
View Article“वरिष्ठ नेताओं का अपमान और पारिवारिक घमंड राजद को ले डूबेगा”
मोदी तूफान के सामने बिहार में राजद के सभी उम्मीदवार तिनके की भांति उड़ गए। राजद के गठन के बाद यह पहला मौका होगा जब लोकसभा में इस दल का कोई प्रतिनिधि मौजूद नहीं रहेगा। इसमें मोदी लहर का प्रकोप तो निश्चित...
View ArticleHow Is It That Muslims Have Become Irrelevant In The Politics Of Uttar Pradesh?
During the colonial period, political management was in the hands of Muslims. But, the situation gradually changed and they became politically marginalized. The situation became worse when not a single...
View Article“सत्ता की अंधभक्ति की ओर आखिर क्यों बढ़ रहे हैं देश के युवा?”
आमतौर पर किसी भी कॉलेज के बाहर बहुत सारे शॉप होते हैं, आप वहां जाकर जब स्टूडेंट्स से पूछेंगे कि आज युवाओं के सामने मुख्य समस्याएं या मुद्दे क्या हैं, जो उनके द्वारा चुने गए नेताओं को जाकर संसद में...
View Articleराजनीति में क्यों सफल नहीं हो पा रहे हैं राहुल गॉंधी?
मुझे बदनाम करने को सिर्फ मैं ही काफी हूं, क्या हैसियत तुम्हारी, जो मुझे बड़ा कर पाओ। मानवीय जीवन में यह एक आम घटना है, जब हम अवसाद में होते हैं तब सोचने, समझने की क्षमता क्षीण होने लगती है। निर्णय...
View Articleबिहार में कुपोषण की स्थिति के लिए क्या आंगनबाड़ी केंद्र भी ज़िम्मेदार है?
उचित पोषाहार, समय पर भोजन और शुद्ध पानी नहीं मिलने के कारण बच्चे कुपोषित हो रहे हैं। कुपोषण के मामले में बिहार के आंकड़े दिल दहला देने वाले हैं। 2018 में जारी एनएफएचएस की रिपोर्ट के अनुसार बिहार में...
View ArticleMy Friends And I Were Racially And Sexually Abused Online For Calling Out...
With the rise of compulsive, conspicuous and Hindutva nationalism, it is wrong and an incoherent activity to discourse decently with the ‘nationalists’ on social media. If you have not been abused,...
View Articleइमरजेंसी के लिए क्या इंदिरा गॉंधी के साथ ही विपक्ष भी ज़िम्मेदार था?
25 जून 1975 को आज़ाद भारत का काला दिन माना जाता है, क्योंकि 44 वर्ष पूर्व इसी दिन तत्कालीन प्रधानमंत्री श्रीमती इंदिरा गाँधी ने इमरजेंसी की घोषणा की थी। आज भी जब इमरजेंसी के उस दौर को याद किए जाने पर,...
View Articleअंग्रेज़ी सरकार से माफी मांगना ही क्या सावरकर के प्रति विरोध की वजह है?
गाँधी को बचाते-बचाते कुछ लोग सावरकर तो नेहरू को बचाते-बचाते कुछ लोग पटेल का विरोध करने लगे। आप खुद को बौद्धिक समझते हैं तो इतना जानते होंगे कि देश का स्वतंत्रता संग्राम कई हिस्सों, स्तरों और वैचारिक...
View Article“भारत का विकास यानि मुट्ठी भर पूंजीपतियों का उदय”
2014 का चुनाव “अच्छे दिन” का वादा लेकर हमारे सामने आया और भाजपा सरकार केंद्र में आई। अच्छे दिन से भाजपा का मतलब था देश का विकास। इससे पहले कि हम इन चीज़ों का आकलन करें कि विकास कैसे किया गया है या करने...
View Articleमहाराष्ट्र में महिलाओं के गर्भाशय निकाले जाने पर क्यों खामोश थी सरकार?
भारत में मरीज़ दर के हिसाब से डॉक्टरों की उपलब्धता कितनी है, यह बात किसी से छिपी नहीं है। हमारे देश में 11 हज़ार लोगों के लिए एक डॉक्टर है। वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइज़ेशन के मुताबिक 1000 लोगों के लिए एक...
View Articleएक देश एक चुनाव के लिए करने होंगे ये बदलाव और सुधार
एक देश एक चुनाव पर 19 जून को प्रधानमंत्री मोदी द्वारा एक सर्वदलीय बैठक बुलाई गई और इस पर एक आम राय बनाने की कोशिश की गई। देश में लोकसभा और विधानसभा के चुनाव अलग-अलग होने के कारण भारत की अर्थव्यवस्था पर...
View Articleमहिलाओं के मुख्यमंत्री बनने का मार्ग प्रशस्त करने वाली सुचेता कृपलानी
सुचेता कृपलानी को अधिकांश लोग इस नाते ही जानते हैं कि उन्होंने एक लेक्चरर के तौर पर अपने करियर की शुरुआत करने के साथ आज़ादी के संघर्षों में भी शामिल हुई थीं। उन्होंने संविधान सभा में वंदे मातरम् गाया और...
View ArticleModi Cabinet 2.0: 10 Most Important Allocations At A Glance
After a landslide victory for the BJP-NDA with 350 seats in the 2019 Lok Sabha elections, all eyes were on the cabinet allocation, and now, they have arrived. While there are new additions like S...
View ArticleOne Nation, One Election: The Case Against Simultaneous Election
Before proceeding on the discussion of simultaneous election, let me cite an instance from our Constituent Assembly debate, to show how they had already foreseen the problem we are dealing with today....
View Articleसंसद में भाषाई मर्यादा का ख्याल क्यों नहीं रखते हैं राजनेता?
भारतीय लोकतंत्र के मंदिर संसद का सदन चल रहा था। सांसद गण माननीय राष्ट्रपति जी के अभिभाषण पर धन्यवाद ज्ञापन प्रस्तुत कर रहे थे। पक्ष-विपक्ष दोनों तरफ से शब्दों के तीर छोड़े जा रहे थे। इस बीच विपक्ष की...
View Articleक्या युद्ध की तरफ बढ़ रहे हैं अमेरिका और ईरान?
पिछले कुछ दिनों में दो ऐसी बड़ी खबरें आई जो नज़रअंदाज़ करने लायक तो नहीं थी मगर इलेक्ट्रॉनिक मीडिया ने इन पर स्टूडियो का खर्चा बचाया। प्रिंट मीडिया का भी रव्वैया कुछ खास नहीं था। पहली खबर यह थी कि ईरान...
View ArticleOne Nation, Many Elections: Will The BJP Maintain The Win They Devised So...
Admittedly, I am what you could call a ‘right wing’ supporter in the Indian context. However, over the past few years, the reactionary nature and functioning of the current government has baffled me....
View ArticleIs The Public Safety Act In Kashmir Being Misused By Those In Charge Of Law...
By Natasha D’Mello A Tale Of Two Teenagers In the summer of 2017, I was seventeen years old. My days were spent actively lazing around, all “stressful” thoughts of holiday homework pushed to the back...
View Articleइमरजेंसी के बाद कितनी बदली थी भारतीय राजनीति की तस्वीर?
इलाहाबाद हाईकोर्ट ने इन्दिरा गॉंधी के खिलाफ सात नुक्तों की याचिका पर फैसला सुनाते हुए पांच में उनको रियायत प्रदान कर दी थी लेकिन दो नुक्तों पर उन्हें दोषी मानते हुए उनकी लोकसभा सदस्यता खारिज़ कर 6 वर्ष...
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